टांडा/अंबेडकरनगर। 07 सितंबर, 2025
हामिद सिद्दीकी
बुनकर नगरी टांडा में पैग़म्बर-ए-इस्लाम हज़रत मोहम्मद साहब के 1500वें जन्म वर्ष के अवसर पर निकाला गया 70वाँ जुलूस-ए-मोहम्मदी इस बार हर लिहाज़ से यादगार रहा। यह आयोजन धार्मिक श्रद्धा के साथ-साथ अनुशासन, सादगी और अदब का प्रतीक भी बना।
इस वर्ष जुलूस में शामिल अंजुमनों ने बिना डीजे और चार पहिया वाहनों के ही अपनी प्रस्तुति और अनुशासन से दर्शकों का ध्यान खींचा। नातिया कलाम ने जुलूस की भव्यता को और बढ़ाया। आयोजकों ने दिखावटी तत्वों से दूर रहकर सच्ची श्रद्धा और अनुशासन पर जोर दिया।
इस अनुशासन और मेहनत को देखते हुए, प्रदर्शन करने वाली छह अंजुमनों को विशेष इनाम और सर्टिफिकेट देकर सम्मानित किया गया।
पहला इनामः हाजी सूफी मोहम्मद रमज़ान खान और शेख़ उम्मीद अली मेमोरियल ट्रस्ट की ओर से अंजुमन हिदायत-उल-इस्लाम, सकरावल।
दूसरा इनामः मोहम्मद हाशिम खान मरहूम की याद में अंजुमन ग़रीब नवाज़, सकरावल।
तीसरा इनामः मोहम्मद फ़ज़िल खान मरहूम की याद में अंजुमन बहार-ए-शरीयत, सकरावल पूरब।
चौथा इनामः शहीद अशफ़ाक़ुल्लाह खान एजुकेशनल एंड वेलफेयर सोसाइटी की ओर से अंजुमन हिदायत-उल-इस्लाम, सिटकहां।
पाँचवाँ इनामः एकता वेलफेयर सोसाइटी की ओर से अंजुमन महफ़िल-ए-मुस्तफ़ा, सकरावल।
छठवाँ इनामः शहीद अशफ़ाक़ुल्लाह खान एजुकेशनल एंड वेलफेयर सोसाइटी की ओर से अंजुमन सालार-ए-इस्लाम, मुसहाँ।
इन आयोजनों और पुरस्कार वितरण में शीराज फ़ाज़िल, हाजी अल्ताफ अहमद, शहबाज़ अनवर, अयाज़ फ़ाज़िल और सैय्यद अशरफ़ हुसैन का विशेष योगदान रहा। पुरस्कार वितरण समारोह में मरकज़ अंजुमन गुलामान-ए-मुस्तफ़ा के सदर मोहम्मद आरिफ़ खान, सेक्रेटरी फ़ज़ले रब अंसारी और अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे। उन्होंने विजेता अंजुमनों को अपने हाथों से इनाम और प्रमाणपत्र प्रदान किए।











































