अंबेडकरनगर। 23 जुलाई, 2025
देश-विदेश व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त सूफी संत हजरत मखदूम अशरफ की किछौछा दरगाह में आगामी 29 जून से मोहर्रम का आठ दिवसीय ऐतिहासिक जुलूस शुरू होने वाला है। दरगाह के इस ऐतिहासिक जुलूस में देश भर के करीब एक लाख से अधिक जायरीन सहभागिता करेंगे। इस बीच, यहां हर रोज बड़ी संख्या में अकीदतमंदों के आने का सिलसिला जारी है।
किछौछा दरगाह के आस्ताने से तीन मोहर्रम ( 29 जून ) से आठ दिवसीय मोहर्रम का रात्रि जुलूस प्रारंभ होकर सात जुलाई अर्थात् 10 मोहर्रम तक चलेगा। खास बात यह है कि दरगाह में मलंग गेट से लेकर सलामी गेट तक मोहर्रम के जुलूस का मुख्य मार्ग है। इस मुख्य पर सड़क के दोनों छोर पर काफी अतिक्रमण है। इस मुख्य मार्ग के जरिए ही मोहर्रम के ताजिया का जूलूस निकलेगा। जुलूस निकलने से पहले यदि मुख्य मार्ग पर से अतिक्रमण नहीं हटाया गया तो एक लाख जायरीनों को दुश्वारियों का सामना करना पड़ेगा। वहीं इस मुख्य मार्ग पर कुछ स्थानों पर नालियां भी टूटी हुईं हैं। जूलूस निकलने से पहले नालियों की मरम्मत भी बहुत जरूरी है।
सलामी गेट तिराहा ( चौक ) से लेकर भिदूण मार्ग होते हुए प्रख्यात शिक्षण संस्था जामिया सूफिया तक संपर्क मार्ग की हालत बहुत बुरी है। वहीं, अशरफपुल के पास डा. कफिल के मकान से लेकर दरगाह नई बस्ती तिराहा और नई बस्ती तिराहा से लेकर बाबा बैठका रोड और कमला पंडित मठ को जाने वाला संपर्क मार्ग भी बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुका है। जूलूस निकलने से पहले खस्ताहाल संपर्क मार्गों का कायाकल्प भी बहुत जरूरी है। उधर, किछौछा नगर पंचायत के ईओ संजय जैसवार ने बताया कि जुलूस निकलने से पहले टूटी हुई नालियों की मरम्मत की कवायद की जा रही है। इसके अलावा जो भी समस्याएं हैं, दरगाह के जिम्मेदारान जब उन्हें अवगत कराएंगे तो उसका भी निस्तारण किया जाएगा।

किछौछा दरगाह : मोहर्रम के जूलस में एक लाख जायरीन करेंगे शिरकत, अतिक्रमण से हो रही परेशानी, कई जगह मुख्य मार्ग भी क्षतिग्रस्त
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