अंबेडकरनगर ( उत्तर प्रदेश ) 18 जनवरी, 2024
पत्रकार व अधिवक्ता जावेद सिद्दीकी/टांडा
खाड़ी देश इजराइल व फिलिस्तीन के लड़ाका गुट हमास के बीच युद्ध थमने का नाम नहीं ले रहा है। इजरायल के हमले से अब तक हजारों फिलिस्तीनियों के मारे जाने की खबर है। फिलिस्तीन के प्रसिद्ध नेता यासिर अरफात अपने सिर पर जो रुमाल लपेटते रहे हैं वह अरफात रुमाल के नाम से प्रसिद्ध हुआ ,फिलिस्तीन और इजरायल युद्ध के दौरान काले -सफेद अरफात रुमाल की मांग इतनी बढ़ गई है कि टांडा के बुनकर काले- सफेद रंग के अरफात रुमाल को जितना भी बुन रहे हैं, तेजी से खप जा रहे हैं, वजह है कि खाड़ी देशों के नागरिक युद्ध के मातमी व गमगीन माहौल में लाल, हरे अरफात रुमाल को इस्तेमाल न करके काले-सफेद रंग के अरफात रुमाल को ही अधिक इस्तेमाल कर रहे हैं, मौका आने पर युद्ध के विरोध में इस रुमाल को अपने हाथ में लहराते भी देखे जा रहे हैं, बुनकरों का मानना है कि शायद इसी वजह से काले- सफेद धागों से बुने अरफात रुमाल की मांग काफी बढ़ गई है। टांडा में अरफात रुमाल के प्रमुख निर्माता हाजी गयास अंसारी का कहना है कि विशेष तकनीक के साथ विद्युत चालित पावर लूम से बुने जा रहे अरफात रुमालों में काले -सफेद अरफात रुमाल की मांग तब से तेज है जब से इसराइल और फिलिस्तीन के मध्य युद्ध चल रहा है।
खाड़ी देशों को एक्सपोर्ट होता है अरफात रुमाल ः बुनकर नगरी टांडा के खास मोहल्ले काजीपुरा व जलालपुर के चुनिंदा जगह पर पावरलूम से तैयार अरफात रुमाल दिल्ली व मुंबई के कपड़ा व्यवसाई खाड़ी देशों को एक्सपोर्ट करने के लिए ले जाते हैं। इजरायल-फिलिस्तीन के मध्य युद्ध होने से काले – सफेद रंग के अरफात रुमाल खाड़ी देश में अधिक एक्सपोर्ट हो रहे हैं।